LPG Cylinder Subsidy : एलपीजी सिलेंडर की कीमतों में हाल ही में ₹50 का इज़ाफा हुआ है, जिससे आम लोगों की जेब पर सीधा असर पड़ा है। अब घरेलू गैस सिलेंडर की कीमत ₹853 तक पहुंच गई है। लेकिन चिंता की बात नहीं है – प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना (PMUY) के लाभार्थियों को अब भी सिलेंडर सिर्फ ₹550 में मिल रहा है।
जी हां, केंद्र सरकार उज्ज्वला योजना के तहत हर सिलेंडर पर ₹300 की सब्सिडी दे रही है, जिससे लाखों गरीब परिवारों को बड़ी राहत मिल रही है। आइए जानते हैं कि ये योजना क्या है, इसका लाभ कैसे उठाएं और आप इसके लिए योग्य हैं या नहीं।
उज्ज्वला योजना क्या है?
प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना (PMUY) की शुरुआत 1 मई 2016 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने की थी। इसका मकसद था ग्रामीण और आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों को धुएं से छुटकारा दिलाकर साफ-सुथला ईंधन यानी एलपीजी गैस देना।
योजना की प्रमुख बातें:
- शुरुआती लक्ष्य था 5 करोड़ मुफ्त एलपीजी कनेक्शन देना
- बाद में इसे बढ़ाकर 8 करोड़ कर दिया गया, जो सितंबर 2019 तक हासिल कर लिया गया
- उज्ज्वला 2.0 की शुरुआत अगस्त 2021 में हुई
- जनवरी 2023 तक 1.60 करोड़ नए कनेक्शन दिए गए
- सितंबर 2023 में अतिरिक्त 75 लाख नए कनेक्शन की मंजूरी
- जुलाई 2024 तक उज्ज्वला लाभार्थियों की संख्या 10 करोड़ पार कर चुकी है
उज्ज्वला योजना के तहत सिलेंडर की कीमत
- PMUY लाभार्थी को सिलेंडर: ₹550 में
- सामान्य उपभोक्ता को सिलेंडर: ₹853 में
- यानी हर रिफिल पर करीब ₹300 की बचत
कौन ले सकता है इस योजना का लाभ?
अगर आप इस योजना का लाभ लेना चाहते हैं, तो आपको कुछ शर्तों को पूरा करना होगा:
- आप भारत के नागरिक हों
- गरीबी रेखा से नीचे (BPL) परिवार से संबंध हो
- पहले से कोई एलपीजी कनेक्शन न हो
- जरूरी दस्तावेज़:
- आधार कार्ड
- राशन कार्ड
- बैंक खाता विवरण
कैसे करें आवेदन?
आप ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं:
वेबसाइट: www.pmuy.gov.in
ऑनलाइन फॉर्म भरें, ज़रूरी दस्तावेज़ अपलोड करें और अपने नजदीकी गैस वितरक से संपर्क करें। कुछ ही समय में आपको कनेक्शन मिल सकता है, और फिर हर सिलेंडर पर ₹300 की सब्सिडी।
ध्यान रखने वाली बातें
- सब्सिडी सीधे आपके बैंक खाते में आती है
- पहले से एलपीजी कनेक्शन है तो आप इस योजना के लिए योग्य नहीं हैं
- उज्ज्वला योजना का फायदा हर रिफिल पर मिलता है
सरकार का मकसद
इस योजना का उद्देश्य सिर्फ सस्ता गैस देना नहीं है, बल्कि गरीब और ग्रामीण महिलाओं को धुएं से मुक्त खाना पकाने का माध्यम देना है। सरकार चाहती है कि हर घर में गैस चूल्हा हो और कोई भी महिला जलावन के धुएं से परेशान न हो।